स्मृति की सफलता हर उत्तराखंडी के लिए प्रेरणा, मेहनत के दम पर माडलिंग में बनाया मुकाम
उत्तराखंड के एक छोटे से गांव से निकलकर महानगर मुंबई में माडलिंग के क्षेत्र में अपनी पहचान बनाना, आसान नहीं होता। लेकिन, कड़ी मेहनत, लगन और जज्बे से आज नौगांव की स्मृति सिलवाल आज इस मुकाम पर हैं कि जिससे हर उत्तराखंडी को गर्व महसूस हो। पहाड़ की इस बेटी ने चैनेल वी के रिएलिटी टीवी शो मेगा मॉडल ग्लैडरैग्स में अपनी कला और प्रतिभा का बखूबी परिचय दिया। स्मृति अभी तक कई शो और माडलिंग इवेंट कर चुकी हैं।
देहरादूनः सिविल सर्विसेज की पढ़ाई छोड़कर माडलिंग के फील्ड में करियर बनाना स्मृति के लिए मुश्किल तो था, लेकिन नामुमकिन नहीं। स्मृति ने ठान लिया था कि उसे मुंबई में जाकर कुछ ऐसा करना है कि पहाड़ को अपनी इस बेटी पर गर्व हो। घर से कोसों दूर एक अलग दुनिया में जाकर काम करना काफी मुश्किल था। वह भी तब जब इस फील्ड में अपना कोई गाड फादर नहीं था। कई बार मुश्किलें आईं, रिजेक्शन मिले, लेकिन मजबूत इच्छाशक्ति ने कभी झुकने नहीं दिया। क्योंकि ठान रखा था कि झुकना नहीं है, केवल आगे बढ़ना है।
फिल्म और माडलिंग की दुनिया में उत्तराखंड के कई सितारे अपनी चमक बिखेर रहे हैं। उत्तरकाशी के छोटे से गांव नौगांव निवासी स्मृति के लिए माडलिंग की दुनिया का सफर आसान नहीं था। लेकिन, यदि प्रतिभा हो तो तमाम अभाव और परेशानियों को मात दी जा सकती है और इस बात को स्मृति ने सही साबित करके दिखाया है। एक सामान्य परिवार से होने के बावजूद आज स्मृति जहां माडलिंग और एक्टिंग के क्षेत्र में मजबूत इरादों और हौसलों के साथ अपनी एक अलग पहचान बना चुकी हैं।
स्मृति मल्टी मीडिया डाट काम सोसाइटी आर्गनाजेशन की ब्रांड एंबेसडर भी हैं। यह संस्था स्वास्थ्य, शिक्षा, पर्यावरण व यातायात संबंधी जागरूकता के लिए कार्य करती है। इसके अलावा वह मुंबई में जरूरतमंद बच्चों की शिक्षा, स्वास्थ्य व भोजन संबंधी आवश्यकताएं पूरी कर समाजसेवा भी कर रही हैं। मुंबई में एक थिएटर ग्रुप से जुड़ी स्मृति ने ‘अपने-अपने दांवÓ प्ले में अहम भूमिका निभाई है।
इसके अलावा चैनेल वी के रिएलिटी टीवी शो मेगा माडल ग्लैडरैग्स में अपनी कला और प्रतिभा का परिचय बखूबी दे चुकी हैं। अभिनेता जॉन अब्राहम, डिनो मौर्या व अभिनेत्री कंगना रनौत को स्टार बनाने वाली ग्लैडरैग्स अकेडमी में स्मृति के ब्यूटी विद ब्रेन को खूब सराहा गया। इसके अलावा वह अब तक कई ब्रांड के लिए भी काम कर चुकी हैं। बेहद सामान्य परिवार से ताल्लुक रखने वाली स्मृति की माता अरुणा व पिता बाबूराम सिलवाल हैं। खास बात यह है कि चार भाई बहनों में अलग करने की ख्वाहिश लेकर स्मृति ने हौसलों के दम पर ग्लैमर जगत में कदम रखा।
आत्मविश्वास व बुलंद हौसले ने किया मार्गदर्शन
अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस पर स्मृति ने कहा कि उत्तराखंड की महिलाओं का इतिहास हमेशा से गौरवशाली रहा है। हम सौभाग्यशाली हैं कि हमें देवभूमि में जन्म लेने का मौका मिला। स्मृति ने कहा कि पहाड़ से निकलकर ग्लैमर की दुनिया में कदम रखना उनके लिए बिल्कुल आसान नहीं था। उन्होंने बताया कि जब वह मुंंबई गईं तो माडलिंग के बारे में उन्हें गाइड करने वाले कोई नहीं था, लेकिन आत्मविश्वास व बुलंद हौसलों ने हमेशा से ही उनका मार्गदर्शन किया है।